Breaking News :

मौसम विभाग का पूर्वानुमान,18 से करवट लेगा अंबर

हमारी सरकार मजबूत, खुद संशय में कांग्रेस : बिंदल

आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद 7.85 करोड़ रुपये की जब्ती

16 दिन बाद उत्तराखंड के त्यूणी के पास मिली लापता जागर सिंह की Deadbody

कांग्रेस को हार का डर, नहीं कर रहे निर्दलियों इस्तीफे मंजूर : हंस राज

राज्यपाल ने डॉ. किरण चड्ढा द्वारा लिखित ‘डलहौजी थू्र माई आइज’ पुस्तक का विमोचन किया

सिरमौर जिला में स्वीप गतिविधियां पकड़ने लगी हैं जोर

प्रदेश में निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण निवार्चन के लिए तैयारियां पूर्ण: प्रबोध सक्सेना

डिजिटल प्रौद्योगिकी एवं गवर्नेंस ने किया ओएनडीसी पर क्षमता निर्माण कार्यशाला का आयोजन

इंदू वर्मा ने दल बल के साथ ज्वाइन की भाजपा, बिंदल ने पहनाया पटका

May 18, 2024

धरती से टल गया बड़ा खतरा, अंतरिक्ष में बेकाबू होकर घूम रहा था 21 टन वजनी विशालकाय राकेट

एजेंसियां — वाशिंगटन

चीन के अनियंत्रित हुए राकेट लॉन्ग मार्च 5बी का मलबा रविवार को पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश कर गया और इसके मालदीव के पास हिंद महासागर में गिरने की खबर है। बताया जा रहा है कि हिंद महासागर में मलबा गिरने से धरती पर बड़ा खतरा टल गया। बीते दो दिनों से चीन का एक 21 टन वजनी विशालकाय राकेट अंतरिक्ष में अनियंत्रित हो गया था और यह पृथ्वी की ओर बढ़ रहा था। देश की अंतरिक्ष एजेंसी ने इसकी जानकारी देते हुए लोगों और सरकारों के उन सवालों का जवाब दे दिया कि इस राकेट का मलबा कब और कहां गिरेगा।

चीन के मैन्ड स्पेस इंजीनियरिंग कार्यालय ने बताया कि चीन के लॉन्ग मार्च 5बी राकेट के अवशेष बीजिंग के समयानुसार सुबह 10 बजकर 24 मिनट पर पृथ्वी के वायुमंडल में फिर से प्रवेश कर गए और वे 72.47 डिग्री पूर्वी देशांतर और 2.65 डिग्री उत्तरी अक्षांश में समुद्र के एक खुले क्षेत्र में गिरे। ज्यादातर अवशेष पृथ्वी के वायुमंडल में पुनः प्रवेश के दौरान ही जल गए। चीन ने इस राकेट की मदद से अंतरिक्ष में बनाए जाने वाले अपने तियांगोंग स्पेस स्टेशन का पहला हिस्सा भेजा था। इस राकेट में 29 अप्रैल को दक्षिणी द्वीपीय प्रांत हैनान में विस्फोट हो गया था।

नासा ने लगाई फटकार

इसके बाद से अमरीकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने अंतरिक्ष मलबे को लेकर जिम्मेदार मानकों को पूरा करने में विफल रहने के लिए चीनी प्रशासन को फटकार लगाई है। पूर्व सेनेटर और नासा के प्रशासक बिल नेल्सन ने कहा कि यह स्पष्ट है कि चीन अपने अंतरिक्ष मलबे के बारे में जिम्मेदार मानकों को पूरा करने में विफल हो रहा है।

चिंता न करें

हालांकि चीन के वैज्ञानिकों ने कहा है कि लोगों को चिंता करने की जरूरत नहीं है, क्योंकि पृथ्वी की कक्षा में आते ही इसके अधिकतर हिस्से जल गए होंगे। जो हिस्से बचे होंगे, वे है मेल्टिंग प्वॉइंट वाले मैटेरियल से बने होंगे, लेकिन वे भी किसी वीरान इलाके या फिर महासागर में ही गिरेंगे। धरती का 75 फीसदी हिस्सा पानी से भरा है और बाकी के 25 फीसदी में भी अधिकतर इलाके वीरान पड़े हुए हैं, इसलिए लोगों को इससे नुकसान होने का खतरा बेहद ही कम है।

Read Previous

कोरोना संकंट में मनरेगा मजदूरों को बिना काम के दिहाड़ी दी जाए

Read Next

यूपी के बागपत में सात गिरफ्तार, चिताओं से उतरे कपड़ों पर नया स्टिकर लगाकर बेचते थे

error: Content is protected !!