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May 10, 2024

मुख्यमंत्री ने जल विद्युत परियोजनाओं से संबंधित एफसीए और एफआरए मामलों के शीघ्र निस्तारण के निर्देश दिए

News portals-सबकी खबर (शिमला ) मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज यहां ऊर्जा विभाग की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए जल विद्युत परियोजनाओं से संबंधित एफसीए और एफआरए मामलों के शीघ्र निस्तारण के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि विभिन्न स्वीकृतियों संबंधी मामलों के कारण लगभग 11 हजार मेगावाट क्षमता की जल विद्युत परियोजनाएं रूकी हुई हैं। उन्होंने एफसीए और एफआरए प्रक्रिया को सुगम बनाने के दृष्टिगत वन और ऊर्जा विभाग को एक समिति गठित करने के भी निर्देश दिए। इसके अतिरिक्त जिलों में आवश्यक वनीकरण के दृष्टिगत उपायुक्तों और वनमण्डलाधिकारियों को भूमि चिन्हित करने को भी कहा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचल को आत्मनिर्भर राज्य बनाने के दृष्टिगत जल विद्युत क्षमता का समुचित दोहन सबसे महत्वपूर्ण है। ऐसे में सभी संबंधित विभाग इन परियोजनाओं को समयबद्ध पूर्ण करने तथा लोगों को इसका समय पर लाभ उपलब्ध करवाने के दृष्टिगत कार्य करें। उन्होंने 800 मेगावाट क्षमता की पार्वती और 100 मेगावाट की ऊहल तृतीय चरण जल विद्युत परियोजनाओं को वर्ष, 2024 तक पूरा करने के भी निर्देश दिए।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि वर्तमान सरकार प्रदेश व यहां के लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए निर्णय ले रही है और विद्युत परियोजनाओं में रॉयल्टी बढ़ाने का मामला इसी के दृष्टिगत उठाया गया है। उन्होंने कहा कि इस पर चर्चा के लिए वे शीघ्र ही केन्द्रीय विद्युत मंत्री के साथ बैठक करेंगे ताकि प्रदेश के लिए और अधिक राजस्व सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की नीति के अनुसार विद्युत परियोजनाओं को पहले 12 वर्षों में 20 प्रतिशत, अगले 18 वर्षांे में 30 प्रतिशत व शेष 10 वर्षांे में 40 प्रतिशत रॉयल्टी राज्य को देने का प्रावधान किया गया है। मुख्यमंत्री ने पांच मेगावाट से कम क्षमता की विद्युत परियोजनाओं के लिए हरसंभव मदद का भी आश्वासन दिया।
मुख्यमंत्री ने राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्ट-अप योजना के चरण-2 की भी समीक्षा की। इसके तहत राज्य सरकार 100 किलोवाट से 500 किलोवाट क्षमता की सौर विद्युत परियोजनाओं के लिए युवाओं को वित्तीय सहायता प्रदान करेगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार शीघ्र ही द्वितीय चरण की यह योजना शुरू करेगी, जिससे प्रदेश के युवाओं को रोजगार व स्वरोजगार के समुचित अवसर प्राप्त होंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 680 करोड़ रुपये की राजीव गांधी स्टार्ट-अप योजना आरम्भ कर इसके प्रथम चरण में ई-टैक्सी की खरीद पर युवाओं को 50 प्रतिशत उपदान का प्रावधान किया है।
बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सलाहकार राम सुभग सिंह, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, अधोसंरचना सलाहकार अनिल कपिल, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा, निदेशक ऊर्जा हरिकेश मीणा, मुख्यमंत्री के प्रधान निजी सचिव विवेक भाटिया, राज्य विद्युत बोर्ड के निदेशक कार्मिक डॉ. अमित कुमार शर्मा, हिमऊर्जा के मुख्य कार्यकारी अधिकारी शुभकरण सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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